मेरठ। राष्ट्रीय राजमार्ग बाईपास स्थित श्री वेंकटेश्वरा विश्वविद्यालय/संस्थान में ‘‘अंतर्राष्ट्रीय भ्रष्टाचार निरोधक दिवस’’ के अवसर पर ‘‘भ्रष्टाचार: वैश्विक अभिशाप एवं लोकतंत्र के लिए खतरा’’ विषय पर एकदिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी एवं भ्रष्टाचार विरोधी शपथ समारोह का भव्य आयोजन किया गया। कार्यक्रम में देशभर से आए वक्ताओं ने भ्रष्टाचार को राष्ट्र की प्रगति में सबसे बड़ा अवरोध बताते हुए इसकी कड़े शब्दों में निंदा की।
कार्यक्रम का शुभारंभ ए.पी.जे. अब्दुल कलाम सभागार में प्रतिकुलाधिपति डॉ. राजीव त्यागी, वरिष्ठ अधिवक्ता डॉ. श्रीगोपाल नारसन, कुलसचिव प्रो. पीयूष कुमार पांडेय एवं डॉ. राजेश सिंह ने सरस्वती माता के समक्ष दीप प्रज्वलित कर किया।
अपने संबोधन में वेंकटेश्वरा समूह के संस्थापक अध्यक्ष श्री सुधीर गिरि ने कहा कि भ्रष्टाचार एक ऐसी दीमक है, जो व्यक्ति, परिवार, संस्था और समाज ही नहीं बल्कि स्वस्थ व स्थिर लोकतंत्र के लिए सबसे बड़ा खतरा है। उन्होंने कहा कि विश्व में जिन राष्ट्रों ने भ्रष्टाचार को बढ़ावा दिया, वे आज विकास की मुख्यधारा से दूर होकर पतन की ओर अग्रसर हैं।
मुख्य वक्ता एवं प्रतिकुलाधिपति डॉ. राजीव त्यागी ने कहा कि पिछले दशक में लोकपाल की नियुक्ति, भ्रष्टाचार विरोधी कठोर कानूनों तथा सूचना का अधिकार (आरटीआई) जैसे सुधारों ने भ्रष्टाचार पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित किया है, जिससे देश की जीडीपी की रफ्तार भी बढ़ी है। उन्होंने कहा कि भ्रष्टाचार के पूर्ण उन्मूलन के लिए सरकार के साथ-साथ प्रत्येक नागरिक को ईमानदारी और पारदर्शिता के साथ अपनी भूमिका निभानी होगी।
संगोष्ठी को वरिष्ठ अधिवक्ता डॉ. श्रीगोपाल नारसन, कुलसचिव प्रो. पीयूष कुमार पांडेय एवं डॉ. नीतू पंवार ने भी संबोधित किया। वक्ताओं ने छात्रों को ईमानदारी और पारदर्शिता बनाए रखने तथा राष्ट्र निर्माण में सक्रिय योगदान देने का आह्वान किया।
इस अवसर पर हजारों छात्र-छात्राओं एवं स्टाफ ने ‘‘भ्रष्टाचार विरोधी शपथ’’ ली और अपने कार्यक्षेत्र में नैतिक मूल्यों का पालन करते हुए राष्ट्रहित में काम करने का संकल्प लिया।
कार्यक्रम में डीन एकेडमिक डॉ. राजेश सिंह, डॉ. सुमन कुमारी, डॉ. आरती गुप्ता, डॉ. राजवर्धन, डॉ. जयवीर सिंह, एस.एस. बघेल, डॉ. श्रीराम गुप्ता, डॉ. प्रताप, मीडिया प्रभारी विश्वास राणा सहित कई गणमान्य उपस्थित रहे।


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